Vishva Ka Sabse Bada Shivling : शिव की महिमा कौन नहीं जनता कहाँ जाता है शिवलिंग को भोलेनाथ की कृपा मानी जाती है और शिवलिंग पूजा करने से भोलेनाथ को प्रसन्न किया जाता है | लेकिन क्या आप जानते है की विश्व का सबसे बड़ा शिवलिंग कहाँ है ? और इसकी क्या प्रथाएं है ? इसका हमारे हिन्दू जीवन में क्या महत्व है ? इसकी पूरी जानकारी आप हमारे माध्यम से पा सकते है | शिव जी का शिवलिंग एक चमत्कारिक शिवलिंग है जिसकी लम्बाई दिन पर दिन बढ़ती है इसीलिए यह विश्व का सबसे अनोखा शिवलिंग माना जाता है इसीलिए आज हम आपको इसके बारे में जानकारी देते है |
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सबसे बड़ा प्राकृतिक शिवलिंग
Sabse Bada Prakratik Shivling : शिवलिंग के पीछे कई तरह के रहस्य जुड़े होते है पूरे विश्व में कई ऐसे शिवलिंग है जिसका रहस्य आज तक कोई नहीं जान पाया है किसी शिवलिंग का आकार छोटा होता है तो किसी शिवलिंग का अकार बड़ा | उन्हें में से एक शिवलिंग है जिसका आकार बाकि शिवलिंग के मुकाबले बहुत बड़ा है कहाँ है ये शिवलिंग ? क्या आप जानते है ?
यह चमत्कारी और अनोखा शिवलिंग छत्तीसगढ़ के गाँव मरौदा में है जो की भूतेश्वर नाथ के नाम से जाना जाता है इसे सबसे बड़ा शिवलिंग होने का गौरव इसीलिए प्राप्त है की क्योकि जब यह जमीन से निकला था तब यह छोटा सा था लेकिन तब से अब तक इसकी लम्बाई और चौड़ाई लगातार बढ़ती जा रही है वर्तमान में इसकी ऊंचाई 18 फ़ीट और गोलाई 20 फ़ीट की है | हर साल अनेक भोले भक्त इसके दर्शन के लिए दुनिया भर से आते है यह एक प्राकृतिक शिवलिंग जिसके पीछे भी एक रहस्य है |
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शिवलिंग के जन्म का रहस्य | हर साल बढ़ता है आकार
Shivling Ke Janm Ka Rahasya | Har Saal Badhta Hai Aakar : लोक कथा में इस कथा का वर्णन मिलता है की एक बार एक जमींदार शोभा सिंह था तो उसे अपनी इस जमीन के पास से शेर और बैल की आवाज़ सुनाई दी तो उसने वहां जकर देखा | जब वह वहां गया तो उसने देखा की एक शिवलिंग की आकार का एक पत्थर जमीन से निकल रहा था | तभी उसके दिमाग में एक बात आयी और उसने सोचा की शेर शक्ति यानि माँ दुर्गा और बैल भोलेनाथ की सवारी है तो उसने सोचा की यह जरूर की शिव की महिमा है तभी से उसने उस पत्थर यानि शिवलिंग को पूजना प्रारम्भ कर दिया |
जब उसने यह बात गाँव वालो को बताई थी तो उन लोगो ने भी रोज़ उस शिवलिंग की पूजा करना शुरू कर दिया | जिसकी वजह से उस चमत्कारी शिवलिंग की हर जगह गाथा होने लगी और दूर-2 से भोलेभक्त इसके दर्शन के लिए आने लगे | जिसकी वजह से आज यह शिवलिंग इतना बड़ा हो गया क्योकि उसका आकार हर साल बढ़ जाता है सावन के महीने में यहाँ बहुत ज़ोर-शोर से मेला लगता है |
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